श्रीनगर गढ़वाल। बैकुंठ चतुर्दशी मेले में इस बार खेल का जोश भी चरम पर नजर आया। मेले के तहत आयोजित महिला एवं ओपन बैडमिंटन प्रतियोगिता ने न केवल दर्शकों को रोमांचित किया,बल्कि स्थानीय खेल प्रतिभाओं को अपनी चमक बिखेरने का सुनहरा अवसर भी प्रदान किया। प्रतियोगिता के दौरान खिलाड़ियों ने शानदार कौशल,बेहतरीन फिटनेस और खेल भावना का ऐसा प्रदर्शन किया कि हर अंक पर तालियों की गूंज से पूरा प्रांगण गूंज उठा। महिला वर्ग हो या ओपन,हर मैच में दर्शकों का उत्साह चरम पर रहा। महिला ओपन वर्ग में स्नेहा रावत ने दमदार प्रदर्शन करते हुए अपने आत्मविश्वास और फुर्तीले खेल से विजेता का खिताब जीता। वहीं ज्योति ने उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए द्वितीय स्थान प्राप्त किया। स्नेहा के स्मैश और सटीक सर्विस ने पूरे दर्शक वर्ग का दिल जीत लिया। ओपन सिंगल वर्ग में राजीव तोमर ने अपने शानदार तकनीकी खेल,गति और रणनीति के बल पर सभी प्रतिद्वंद्वियों को पछाड़ते हुए विजेता ट्रॉफी अपने नाम की। प्रशांत रावत ने भी बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए उपविजेता का स्थान हासिल किया। दोनों खिलाड़ियों के बीच खेले गए फाइनल मैच के दौरान स्टेडियम तालियों और जयकारों से गूंज उठा। वहीं ओपन डबल्स वर्ग में राजीव तोमर और अमन नेगी की जोड़ी ने शानदार तालमेल और फुर्ती दिखाते हुए प्रथम स्थान प्राप्त किया। उनकी जोड़ी की रफ्तार और सटीकता ने विरोधियों को कोई मौका नहीं दिया। पी.ममगांई और प्रशांत रावत की जोड़ी ने संघर्षपूर्ण मुकाबले में द्वितीय स्थान हासिल किया। प्रतियोगिता के समापन पर विजेता खिलाड़ियों को 21,000 रुपए की नकद पुरस्कार राशि,जबकि उपविजेताओं को 11,000 रुपए की नकद राशि प्रदान की गई। साथ ही मेले की आयोजन समिति ने विजेताओं को प्रशस्ति पत्र और ट्रॉफी देकर सम्मानित किया। खेल के इस आयोजन में बड़ी संख्या में खेल प्रेमी,छात्र-छात्राएं,स्थानीय नागरिक और अतिथि मौजूद रहे। सभी ने एक स्वर में कहा कि इस तरह की प्रतियोगिताएं युवाओं में स्वास्थ्य,अनुशासन और प्रतिस्पर्धात्मक भावना को बढ़ावा देती हैं। मेले की आयोजन समिति ने बताया कि बैकुंठ चतुर्दशी मेले को केवल धार्मिक या सांस्कृतिक नहीं,बल्कि खेल एवं सामाजिक एकता के उत्सव के रूप में भी मनाने का उद्देश्य है। श्रीनगर में खेल प्रतिभाओं को मंच देने का यह प्रयास आने वाले वर्षों में और व्यापक स्वरूप लेगा। बैकुंठ चतुर्दशी मेला बना खेल और संस्कृति का संगम-स्नेहा और राजीव ने बैडमिंटन कोर्ट पर लिखा जीत का नया अध्याय।








