देहरादून/श्रीनगर गढ़वाल। उत्तराखंड सरकार ने प्राथमिक शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ और सशक्त बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाते हुए राज्यभर में 2100 प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया शुरू करने के आदेश जारी कर दिए हैं। विभागीय मंत्री डॉ.धन सिंह रावत के निर्देश पर शासन ने यह निर्णय लिया है,जिसके तहत जनपदवार रिक्तियों के सापेक्ष शीघ्र आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे। शिक्षा मंत्री डॉ.रावत ने बताया कि वर्तमान में प्रदेश में प्राथमिक शिक्षकों के करीब 2100 पद रिक्त हैं,जिनमें से 451 पद न्यायालय में विचाराधीन हैं। शेष 1649 पदों पर शीघ्र भर्ती प्रक्रिया शुरू की जाएगी। इस संबंध में निदेशक प्राथमिक शिक्षा को आवश्यक निर्देश जारी कर दिए गए हैं। डॉ.रावत ने कहा कि प्राथमिक शिक्षक जनपद कैडर के अंतर्गत आते हैं,इसलिए भर्ती की विज्ञप्ति जिला स्तर से ही जारी की जाएगी। इसके लिए जिला शिक्षा अधिकारी (बेसिक) को जनपदवार रिक्तियों के अनुरूप आवेदन आमंत्रित करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने पिछले दो वर्षों में 3000 से अधिक शिक्षकों की नियुक्ति कर प्रदेश की प्राथमिक शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ किया है। हालांकि कुछ अभ्यर्थियों द्वारा एनआईओएस डीएलएड प्रशिक्षुओं को शामिल करने के मुद्दे पर न्यायालय में याचिका दायर किए जाने से भर्ती प्रक्रिया अस्थायी रूप से बाधित थी। सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद राज्य कैबिनेट ने बेसिक शिक्षक सेवा नियमावली में संशोधन करते हुए वर्ष 2017 से 2019 के एनआईओएस डीएलएड प्रशिक्षुओं को आगामी भर्ती में शामिल करने की अनुमति दे दी है। साथ ही सहायक अध्यापक (विशेष शिक्षा) के पदों को भी नियमावली में जोड़ा गया है। डॉ.रावत ने कहा कि शासन स्तर से निदेशक प्राथमिक शिक्षा को आदेश जारी कर दिए गए हैं ताकि भर्ती प्रक्रिया को शीघ्रता और पारदर्शिता के साथ प्रारंभ किया जा सके। सरकार का लक्ष्य प्रदेश के सभी प्राथमिक विद्यालयों में शत-प्रतिशत शिक्षकों की तैनाती सुनिश्चित करना है। यह कदम न केवल शिक्षा के स्तर को ऊंचा उठाएगा,बल्कि बच्चों के भविष्य को भी और उज्जवल बनाएगा।








